जंगल से घिरे गाँव के गरीब लोगों को मदद करती कलीसिया

गरीबों की सहायता में राँची की कलीसिया के साथ अपोस्तोलिक कार्मेल की धर्मबहनें गरीबों की सहायता में राँची की कलीसिया के साथ अपोस्तोलिक कार्मेल की धर्मबहनें

राँची की काथलिक कलीसिया ने राँची के लाली पंचायत स्थित जंगल से घिरे एक गाँव के 280 गरीब परिवारों को कोरोना वायरस महामारी के समय में राशन देकर मदद पहुँचायी।
लाली पंचायत का यह गाँव राँची शहर से करीब 35 किलोमीटर दूर एक जंगल में बसा है। यहाँ के लोग अपनी जीविका के लिए जंगल से मिलने वाले प्राकृतिक संसाधनों पर निर्भर करते हैं किन्तु तालाबंदी के कारण बाहर नहीं निकल पाने और अपने उत्पादों को भी नहीं बेच पाने के कारण वे अत्यन्त दयनीय स्थिति में जी रहे हैं। जब राँची काथलिक कलीसिया के स्वयंसेवक स्थानीय सांसद रामेश कच्छप के साथ राशन लेकर उनके घरों में पहुँचे तो लोगों के चेहरों पर मुस्कान खिल उठे। यह क्षेत्र माओवादियों का गढ़ भी माना जाता है।

गाँववालों की समस्या
जंगल से घिरे इस गाँव में अधिकांश आदिवासी लोग रहते हैं जिन्होंने तालाबंदी के समय को बड़ी मुश्किल स्थिति में बिताया है क्योंकि उनके पास कोई सरकारी सहायता नहीं पहुँच पायी। चावल दाल नहीं होने पर लोगों ने जंगल से फल-फूल एवं कंद-मूल खाकर अपना पेट भरा।

गाँव के एक व्यक्ति ने कहा, "हम भूखमरी का सामना कर रहे हैं क्योंकि हम जंगल से मिलने वाली चीजों को फेंकने के भाव में भी नहीं बेच पा रहे हैं।"

लोगों की परेशानी एवं दयनीय हालात देखकर कलीसिया ने पतेहपुर, गरूडपीढ़ी, बारेदंदा, माराटोली, जोगीटोली, हेस्सो, नीमटोली, मेरोटोली, सेरेंगटोली, खुदागारा, पिपराटोली, गुतियाटोली, रानाटोली और हेसलाटोली के कुल 280 परिवारों को 15 दिनों के लिए राशन प्रदान किया।

अपोस्तोलिक कार्मेल की धर्मबहनों का योगदान
अपोस्तोलिक कार्मेल की धर्मबहनें जो सामलोंग में कार्मेल स्कूल चलाती हैं उन्होंने आर्चबिशप हाऊस से सम्पर्क कर गाँववालों की मदद करने की इच्छा जाहिर की थी।

धर्मबहनों ने पहले भी शहर में राहत पहुँचायी है तथा 2000 मास्क का वितरण किया है।

राँची के सहायक धर्माध्यक्ष ने खिजरी के सांसद के साथ मिलकर इस गाँव को मदद करने का निर्णय लिया। मदद पाकर ग्रामीण भावुक हो गये। राँची के महाधर्माध्यक्ष फेलिक्स टोप्पो व्यस्त होने के कारण गाँव नहीं जा पाये। धर्माध्यक्ष थेओदोर ने लोगों को समझाया कि राशन वितरण करने के लिए लोगों का चुनाव उनकी आवश्यकता के आधार पर किया गया है, जाति, धर्म अथवा भाषा के आधार पर नहीं। उन्होंने कहा कि काथलिक कलीसिया उनके लिए ईश्वर के प्रेम को प्रकट करना चाहती है।

स्थानीय लोगों का आभार
स्थानीय नेताओं ने उनकी चिंता करने के लिए धर्माध्यक्षों, पुरोहितों, धर्मबहनों और सांसद के प्रति आभार प्रकट किया। वहाँ के एमएलए मिस्टर कच्छप ने संकट के इस समय में सेवा देने के लिए कलीसिया की सराहना की, जिनके द्वारा शेल्टर होम चलाया जा रहा है, खाद्य सामग्रियों का वितरण किया जा रहा है एवं यात्रा कर रहे प्रवासियों को राहत पहुँचाया जा रहा है।

राशन वितरण में अपोस्तोलिक कार्मेल की धर्मबहनें- सिस्टर रेनिशा, सिस्टर स्टेफ्फी, सिस्टर सृष्टि तथा राँची महाधर्मप्रांत के सेमिनरी के ब्रादर्स एवं राँची काथलिक युवा-कुलदीप तिरकी, अभय अंजली और अंजु लकड़ा ने सहयोग दिया।

इस अवसर पर उलहातु के पल्ली पुरोहित फादर मक्सिमुस टोप्पो, फादर सुशील टोप्पो, फादर आनन्द लकड़ा, फादर तोबियस टोप्पो और फादर भिक्टर लकड़ा ने भी राशन बांटने में साथ दिया।

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