मोंटफोर्ट संस्थान द्वारा झुग्गियों में रहने वालों के लिए मुफ्त कोविड केंद्र खोला। 

हैदराबाद में मोंटफोर्ट सामाजिक संस्थान ने 4 जून को एक "मुफ्त कोविड देखभाल केंद्र" खोला, ताकि झुग्गियों में रहनेवाले उन मरीजों की देखभाल की जा सके जिन्हें अपने घर में अलग रहने के लिए जगह नहीं है।
मोंटफोर्ट सामाजिक संस्थान के निदेशक ब्रदर वर्गीस थेकनाथ ने कहा, "कई कोविड पोजिटिव मरीज, झुग्गियों में निवास स्थान छोटा होने के कारण अपने आप को अलग नहीं कर सकते हैं। इसके कारण कई बार पूरा परिवार संक्रमित हो जाता है।"
63 वर्षी ब्रदर वर्गीस ने बतलाया कि इस समस्या का हल करने हेतु संस्थान में 25 बेड की सुविधा दी गई है।   
कोविड देखभाल केंद्र, हल्के लक्षण वाले मरीजों को मुफ्त बेड, भोजन, दवाई और मेडिकल परामर्श प्रदान करता है। यह मरीजों एवं उसके परिवारवालों को काउंसिलिंग की सुविधा भी प्रदान करता है।
केंद्र का उद्घाटन शमशाबाद के धर्माध्यक्ष रफाएल थत्तिल, उप्पल के विधायक बेथी सुबेश रेड्डी और संत गाब्रिएल ब्रदरों के प्रोविंशल ब्रदर बाला शौरी ने की।
ब्रदर थेकनाथ ने बतलाया कि मोंटफोंर्ट संस्थान द्वारा कोविड राहत कार्यक्रम में यह कार्यक्रम सबसे नवीनतम है।  
महामारी की पहली लहर के दौरान, संस्था ने उन झुग्गी बस्ती वालों के साथ संबंध बनाए रखा जहां इसके स्वयंसेवकों ने दशकों तक काम किया था। उन्होंने 33.2 मिलियन रूपये खर्च कर 17,000 परिवारों को राशन और दवाई प्रदान की।
केंद्र ने करीब 500 घरेलू कामगारों और ट्रांसजेंडरों को छोटा ऋण प्रदान किया है, जिन्होंने वैकल्पिक स्व-रोजगार उद्यम स्थापित करने के लिए अपनी आजीविका खो दी थी। इनमें पेपर-प्लेट बनाना, बकरी पालन, खानपान और सब्जी की बिक्री शामिल है।
दूसरा पहल है हैदराबाद एवं सिकंदराबाद के 108 झुग्गी बस्तियों में प्रशिक्षित स्वयंसेवकों द्वारा कोविड-19 पर जागरूकता लाना।
दूसरी लहर में, मोंटफोर्ट संस्था ने ट्रांसजेंडर एवं महामारी से प्रभावित 1,350 लोगों को राशन प्रदान किया। इसके साथ-साथ, 400 लोगों की जीविका को मदद दी।
संस्था ने हैदराबाद, गुंटूर और विजयवाड़ा में 108 झुग्गी बस्तियों में यूनिसेफ के साथ साझेदारी में जागरूकता और टीका तैयारी कार्यक्रम भी शुरू की।
ब्रदर थेकनाथ ने कहा कि झुग्गी-झोपड़ी समुदायों के साथ इस तरह के घनिष्ठ संबंध और जमीनी स्थिति के बारे में जागरूकता ने दूसरी लहर में संस्थान का ध्यान चिकित्सा सहायता प्रदान करने की ओर खींचा।
विधायक रेड्डी ने झुग्गी-झोपड़ियों में संस्था के कार्यों के प्रति खुशी व्यक्त की तथा एक अति आवश्यक कदम के रूप में कोविड केंद्र की सराहना की।
धर्माध्यक्ष थत्तिल ने केंद्र की तुलना, येसु के जन्म के लिए बेतलेहेम शहर से की, जिसने गरीबों के लिए एक सुन्दर सराय प्रदान किया हैं।  
हैदराबाद में मोंटफोर्ट ब्रदरों का झुग्गी बस्तियों में प्रेरिताई की शुरूआत 1990 में हुआ था जब ब्रदर थेकनाथ, नगर की झोंपड़ी बस्ती में रहने लगे।
ब्रदर थेकनाथ ने कहा, "मैं 12 साल यहाँ रहा और धीरे-धीरे एक धार्मिक समुदाय का निर्माण हुआ - मेरी जानकारी में भारत में एक झुग्गी बस्ती में डाला गया यह पहला धार्मिक समुदाय है। समुदाय जिसको पीपुल्स इनिशिएटिव नेटवर्क कहा जाता है वह अब भी झुग्गी में स्थापित है।"  

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